Ganpati aarti pdf | Ganesh ji ki aarti pdf download

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Ganesh ji ki aarti pdf
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Ganpati aarti pdf | Ganesh ji ki aarti pdf download in Hindi

गणेश जी की पूजा करने के लिए सबसे पहले मूर्ति को साफ कर आसन पर रखे । प्रसाद के रूप में फूल, रोली और दूब अर्पित करें; प्रसाद के रूप में लड्डू, मोदक और मौसमी फल रखें; गणेशजी को लड्डू विशेष प्रिय हैं! गणेशजी की आरती (जय गणेशजय गणेश देवा आरती) करते समय देसी घी का दीपक जलाएं। गणेशजी की आरती करते समय हम सबसे पहले गणेश देव से प्रार्थना करते हैं; एक बार मंत्र का जाप करते हुए हम गणेशजी का ध्यान करते हुए उनकी आरती करते हैं और सच्ची निष्ठा और सच्ची भक्ति के साथ आरती करते हुए उनकी पूजा करते हैं!

 श्री गणेश जी की आरती ऑफलाइन पढ़ने के लिए आप नीचे स्क्रॉल करके उनकी पीडीएफ (Ganesh ji Ki aarti in Hindi & English) डाउनलोड कर सकते हैं।

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Ganesh aarti pdf | Ganesh ji ki aarti pdf in English

Ganesh ji ki aarti Hindi Lyrics

ganesh aarti pdf
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जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥

एक दंत दयावंत,
चार भुजा धारी ।
माथे सिंदूर सोहे,
मूसे की सवारी ॥

जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥

पान चढ़े फल चढ़े,
और चढ़े मेवा ।
लड्डुअन का भोग लगे,
संत करें सेवा ॥

जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥

अंधन को आंख देत,
कोढ़िन को काया ।
बांझन को पुत्र देत,
निर्धन को माया ॥

जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥

‘सूर’ श्याम शरण आए,
सफल कीजे सेवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥

जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥

—– Additional —–
दीनन की लाज रखो,
शंभु सुतकारी ।
कामना को पूर्ण करो,
जाऊं बलिहारी ॥

जय गणेश जय गणेश,
जय गणेश देवा ।
माता जाकी पार्वती,
पिता महादेवा ॥

Ganesh ji ki aarti Lyrics in English | Ganpati aarti in English lyrics

Jai Ganesh Jai Ganesh,
Jai Ganesg Deva ।
Mata Jaki Parwati,
Pita Maha Deva ॥

Ek Dant Daya Want,
Char Bhuuja Dhari ।
Mathe Sindor Shoye,
Muse Ki Sawari ॥

Jai Ganesh Jai Ganesh,
Jai Ganesg Deva ।
Mata Jaki Parwati,
Pita Maha Deva ॥

Pan Chadhe Phool Chadhe,
Aur Chadhe Mewa ।
Laduan Ko Bhog Lage,
Sant Kare Sewa ॥

Jai Ganesh Jai Ganesh,
Jai Ganesg Deva ।
Mata Jaki Parwati,
Pita Maha Deva ॥

Andhan Ko Aankh Det,
Kodhin Ko Kaya ।
Bajhan Ko Purta Det,
Nirdhan Ko Maya॥

Jai Ganesh Jai Ganesh,
Jai Ganesg Deva ।
Mata Jaki Parwati,
Pita Maha Deva ॥

‘sur’ Shaam Sharan Aaye,
Safal Ki Jiye Sewa ।
Mata Jaki Parwati,
Pita Maha Deva ॥

Jai Ganesh Jai Ganesh,
Jai Ganesg Deva ।
Mata Jaki Parwati,
Pita Maha Deva ॥

—– Additional —–
Deenan Ki Laaj Rakho,
Shambhu Sutakari ।
Kamana Ko Poorn Karo,
Jaoon Balihari ॥

Jai Ganesh Jai Ganesh,
Jai Ganesg Deva ।
Mata Jaki Parwati,
Pita Maha Deva ॥

Ganesh Ji Ki Aarti PDF – गणेश जी की आरती विध

आरती शुरू करने से पहले, शंख को कम से उच्च स्वर तक तीन बार बजाएं सुनिश्चित करें कि जब आप घंटी बजाते हैं और गाते हैं तो लय लगातार बनी रहे. प्रत्येक लयबद्ध घंटी बजने के साथ आरती गाते रहे। 

साथ ही गाते समय प्रत्येक शब्द का सही उच्चारण करे।  आरती के लिए शुद्ध रुई से बनी बत्ती का प्रयोग करें।गणेश जी की आरती में एक, पांच, नौ, ग्यारह या इक्कीस बत्तियां जलानी चाहिए।

आरती समाप्त होते ही जप करते हुए श्रीगणेशजी से मंगलमय कामना करें!

नमस्कार दोस्तों! आज हम आपके सभी कष्टों को दूर करने और समृद्धि लाने के लिए गणेश आरती पीडीएफ /Ganpati aarti pdf प्रस्तुत करते हैं। श्री गणेश जी को समस्त देवों में प्रथम पूज्य माना जाता, जिसका अर्थ है कि जब भी किसी भी प्रकार का धार्मिक काम होता हे , तो शुरुआत में सबसे पहले उनका आह्वान करना आवश्यक है।

श्री गणेशजी को मंगल करता दुःख हरता के रूप में पूजा जाता है जो खुशी लाते हैं और दुख को कम करते हैं, क्योंकि उनका आशीर्वाद उनके भक्तों को उनके दैनिक जीवन में आने वाली किसी भी कठिनाई को दूर करने में मदद करता है। श्री गजानन गणपति की प्रतिदिन आरती करने से, खुशियाँ और सौभाग्य से जीवन भर जाता है।

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